Sunday, September 28, 2014

दाग तेरे दामन

दाग तेरे दामन के धुले ना धुले !!!! नेकिया तेरी तराजू में तुले न तुले !!!!! आज ही गुनाहों से कर ले तोबा !! ख़ुदा जाने कल तेरी आँख खुले ना खुले!! "अस्ताग-फिरुल्लाहा रब्बी मिन-कुल्ली ज़न्बिउन वातुबू इलैही"

No comments:

Post a Comment